हरिवंश पुराण विष्णु पर्व (संस्कृत) अध्याय 111 श्लोक 16-18

हरिवंश पुराण विष्णु पर्व (संस्कृत) अध्याय 111 श्लोक 16-18

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ततो मां व्रीडितं मत्वा पुनराह जनार्दन:।
गम्यतां कौरवश्रेष्ठ शक्यते यदि रक्षितुम्।।16।।

त्वत्पुरोगाश्च रक्षन्तु वृष्ण्यन्धकमहारथा:।
ऋते रामं महाबाहुं प्रद्युम्नं च महाबलम्।।17।।

ततोऽहं वृष्णिसैन्येन महता परिवारित:।
तमग्रतो द्विजं कृत्वा प्रयात: सह सेनया।।18।।
 
इति श्रीमहाभारते खिलभागे हरिवंशे विष्णुपर्वणि वासुदेवमाहात्म्ये एकादशाधिकशततमोऽध्याय:।

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टीका टिप्पणी और संदर्भ

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