सहजन्या का उल्लेख हिन्दू पौराणिक ग्रंथ महाभारत में हुआ है। महाभारत आदि पर्व के अनुसार ये छह श्रेष्ठ अप्सराओं में से एक अप्सरा का नाम था।[1]
- महाभारत आदि पर्व के अनुसार इसने अर्जुन के जन्म के उत्सव में गाना गाया था।[2]
- महाभारत सभा पर्व के अनुसार यह कुबेर की सभा में उनकी सेवा के लिए उपस्थित होती थीं।[3]
टीका टिप्पणी और संदर्भ
पौराणिक कोश |लेखक: राणा प्रसाद शर्मा |प्रकाशक: ज्ञानमण्डल लिमिटेड, वाराणसी |संकलन: भारत डिस्कवरी पुस्तकालय |पृष्ठ संख्या: 515 |