कच

कच पौराणिक धर्म ग्रंथों और हिन्दू मान्यताओं के अनुसार देवताओं के गुरु बृहस्पति के पुत्र थे।

  • दैत्य गुरु शुक्राचार्य से कच ने संजीवनी विद्या प्राप्त की थी, किंतु गुरु पुत्री देवयानी के प्रेम को ठुकरा देने के कारण देवयानी ने कच को संजीवनी विद्या भूल जाने का शाप दे दिया था।
  • देवयानी द्वारा शाप दिये जाने के बाद कच ने भी देवयानी को यह शाप दिया कि- "कोई भी ब्राह्मण उससे विवाह नहीं करेगा।"


टीका टिप्पणी और संदर्भ

महाभारत शब्दकोश |लेखक: एस. पी. परमहंस |प्रकाशक: दिल्ली पुस्तक सदन, दिल्ली |संकलन: भारत डिस्कवरी पुस्तकालय |पृष्ठ संख्या: 29 |


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