करहाटक

करहाटक बंगलोर-पुणे रेल मार्ग पर पुणे से 124 मील दूर करहाड़ ही प्राचीन करहाटक है।

  • करहाटक में कृष्णा और ककुद्मती नदियों का संगम होता है।
  • करहाड़ से 10 मील पर कोल नृसिंह ग्राम में महर्षि पराशर द्वारा स्थापित नृसिंह-मूर्ति है।
  • महाभारत सभा पर्व[1] में करहाटक पर सहदेव की विजय का उल्लेख है-
'नगरी सज्यंती च पाखंडं करहाटकं दूतैरेवशे चके करं चैनानदापयत्'।


टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. सभा पर्व महाभारत 31, 70

संबंधित लेख

वर्णमाला क्रमानुसार लेख खोज

                                 अं                                                                                                       क्ष    त्र    ज्ञ             श्र    अः