विषय सूची
भागवत स्तुति संग्रह
दूसरा अध्याय
माधुर्यलीला
चतुर्थ प्रकरण
रासलीला
पूर्वार्ध
गोपियों द्वारा विरहावस्था में की हुई स्तुति
हे सखे! आप केवल यशोदानन्दन ही नहीं है किन्तु सब प्राणियों की बुद्धि के साक्षी हैं (इस कारण हमारे दुःख को भी आप जानते हैं) ब्रह्मा जी के प्रार्थना करने पर आप संसार की रक्षा करने के लिए यदुकुल में अवतीर्ण हुए हैं (तो हमारी रक्षा क्यों नहीं करते?)।।4।। |
टीका टिप्पणी और संदर्भ
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प्रकरण | पाठ का नाम | पृष्ठ संख्या |
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