मेरे तो गिरधर गोपाल -स्वामी रामसुखदास मेरे तो गिरधर गोपाल -रामसुखदास क्रम संख्या पाठ का नाम पृष्ठ संख्या 1 मेरे तो गिरधर गोपाल 1 2. कामना, जिज्ञासा और लालसा 8 3. अभेद और अभिन्नता 14 4. मानव शरीर का सदुपयोग 20 5. सच्ची आस्तिकता 33 6. संसार का असर कैसे छूटे ? 38 7. अभिमान कैसे छूटे ? 44 8. साधक, साध्य तथा साधन 52 9. साधक कौन? 59 10. मुक्ति स्वाभाविक है 68 11. हम कर्ता-भोक्ता नहीं है 74 12. अक्रियता से परमात्म प्राप्ति 79 वर्णमाला क्रमानुसार लेख खोज अ आ इ ई उ ऊ ए ऐ ओ औ अं क ख ग घ ङ च छ ज झ ञ ट ठ ड ढ ण त थ द ध न प फ ब भ म य र ल व श ष स ह क्ष त्र ज्ञ ऋ ॠ ऑ श्र अः