पंचामृत

पंचामृत का अर्थ है कि, पाँच तरह के अमृत का मिश्रण। यह मिश्रण दुग्ध, दही, घृत[1], चीनी और मधु मिलाकर बनाया गया एक पेय पदार्थ होता है, जो हव्य-पूजा की सामग्री बनता है, और जिसका प्रसाद के रूप में विशिष्ट स्थान है। इसी से भगवान का अभिषेक भी किया जाता है।

  • भारतीय सभ्यता में पंचामृत का जो महत्त्व बताया गया है, वह यह है कि, श्रृद्धापूर्वक पंचामृत का पान करने वाले व्यक्ति को जीवन में सभी प्रकार के सुख और समृद्धि की प्राप्ति होती है। इसके पान से मानव जन्म और मरण के बन्धन से मुक्त हो जाता है तथा मोक्ष की प्राप्ति करता है।

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. घी

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