संजीवन मणि

संजीवन मणि महाभारत के उल्लेखानुसार नागलोक का मणि-विशेष था, जिसके प्रभाव से मृत सर्प पुनर्जीवित हो जाते थे।

  • बभ्रुवाहन से युद्ध करते समय अर्जुन के धराशायी होने पर उलूपी ने इस मणि का स्मरण किया था तथा इसी से अर्जुन सचेत हुए थे।


टीका टिप्पणी और संदर्भ

महाभारत शब्दकोश |लेखक: एस. पी. परमहंस |प्रकाशक: दिल्ली पुस्तक सदन, दिल्ली |संकलन: भारत डिस्कवरी पुस्तकालय |पृष्ठ संख्या: 111 |


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